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एनकाउंटर में ढेर मंगेश यादव पर प्रतापगढ़ में भी दर्ज थे आपराधिक मामले, अंकित की तलाश में जुटी एसटीएफ

एनकाउंटर में ढेर मंगेश यादव पर प्रतापगढ़ में भी दर्ज थे आपराधिक मामले, अंकित की तलाश में जुटी एसटीएफ

प्रतापगढ़, 6 सितंबर 2024। सुल्तानपुर सराफा डकैती मामले में एनकाउंटर के दौरान मारे गए मंगेश यादव पर सुल्तानपुर, जौनपुर और प्रतापगढ़ में भी आपराधिक मामले दर्ज थे। प्रतापगढ़ जिले के पट्टी कोतवाली में मंगेश पर 2022 में चोरी का मुकदमा दर्ज हुआ था। मंगेश यादव, जो जौनपुर के बक्शा थाना क्षेत्र के अंगरौरा का निवासी था, के खिलाफ कुल सात मुकदमे दर्ज थे।

आसपुर देवसरा के हरिपुरा निवासी अंकित यादव उर्फ शेखर भी सुल्तानपुर सराफा लूटकांड में शामिल रहा है। पुलिस ने अंकित पर एक लाख रुपये का इनाम घोषित किया है। अंकित के खिलाफ दो मुकदमे आसपुर देवसरा और सुल्तानपुर में, और एक जौनपुर में दर्ज है। अंकित यादव से जुड़े कुछ लोगों से एसटीएफ और सुल्तानपुर पुलिस पहले ही पूछताछ कर चुकी है।

5 सितंबर 2024 की सुबह एसटीएफ और सुल्तानपुर पुलिस ने संयुक्त अभियान में जौनपुर के बक्शा थाना क्षेत्र के अंगरौरा निवासी मंगेश यादव उर्फ कुंभे को मुठभेड़ में मार गिराया। मंगेश यादव पर चोरी समेत कई अन्य गंभीर अपराधों के आरोप थे। उसके खिलाफ पट्टी कोतवाली में चोरी का एक मुकदमा 2022 में दर्ज हुआ था, जो उसकी आपराधिक गतिविधियों का हिस्सा था।

अपर पुलिस अधीक्षक (पूर्वी) दुर्गेश सिंह ने बताया कि सराफा लूटकांड के बाकी आरोपियों की तलाश में पुलिस टीम लगातार जुटी हुई है। सुल्तानपुर पुलिस ने लूटकांड में शामिल अंकित यादव पर एक लाख रुपये का इनाम घोषित किया है, लेकिन दिलचस्प बात यह है कि आसपुर देवसरा थाने के थानाध्यक्ष संतोष सिंह को अंकित पर दर्ज मुकदमों की जानकारी नहीं है। जब उनसे इस बारे में पूछा गया, तो उन्होंने अनभिज्ञता जताई।

अंकित यादव के गांव के लोग भी उसके आपराधिक मामलों से अनजान थे। जब सुल्तानपुर में लूट की घटना के बाद एसटीएफ गांव में सक्रिय हुई, तब जाकर ग्रामीणों को उसकी आपराधिक गतिविधियों की जानकारी मिली। इनाम घोषित होने के बाद से गांव के लोग और परिवार वाले चुप्पी साधे हुए हैं और इस विषय पर कुछ भी बोलने से कतरा रहे हैं।