नई दिल्ली, 28 मार्च 2025। सांसद नवीन जिंदल ने संसद में रिफाइंड तेल और अल्ट्रा प्रोसेस्ड फूड से होने वाले गंभीर स्वास्थ्य खतरों का मुद्दा उठाते हुए सरकार से सख्त नियमन और उपभोक्ता जागरूकता बढ़ाने की मांग की। उन्होंने कहा कि बार-बार रिफाइनिंग से तेलों के पोषक तत्व खत्म हो जाते हैं और ट्रांस फैट का स्तर बढ़ जाता है, जिससे हृदय रोग, डायबिटीज और मोटापा जैसी बीमारियों का खतरा बढ़ता है।
जिंदल ने कहा कि पैकेजिंग और लेबलिंग में पारदर्शिता की कमी के कारण उपभोक्ता यह समझ ही नहीं पाते कि वे क्या खा रहे हैं। उन्होंने सरकार से आग्रह किया कि खाद्य उत्पादों पर स्पष्ट रूप से उल्लेख किया जाए कि वे रिफाइंड तेलों का उपयोग करते हैं या अल्ट्रा प्रोसेस्ड श्रेणी में आते हैं।
सांसद ने सरकार से इस विषय पर वैज्ञानिक दृष्टिकोण से गहन अध्ययन के लिए एक वाईट पेपर जारी करने की मांग की। साथ ही, पारंपरिक और कोल्ड-प्रेस्ड तेलों, प्राकृतिक और ऑर्गेनिक खाद्य पदार्थों को बढ़ावा देने की आवश्यकता पर जोर दिया।
नवीन जिंदल ने कहा कि ‘विकसित भारत’ के लक्ष्य को हासिल करने के लिए नागरिकों का स्वस्थ रहना जरूरी है। उन्होंने उपभोक्ताओं को छिपे हुए स्वास्थ्य खतरों से बचाने और प्रभावी खाद्य नियमन नीति लागू करने के लिए सरकार से ठोस कदम उठाने की अपील की।
नवीन जिंदल हरियाणा के कुरुक्षेत्र संसदीय क्षेत्र से भाजपा के सांसद हैं। वे प्राय: सामाजिक और लोगों के स्वास्थ्य के साथ ही पर्यावरण से जुड़े मामलों के साथ देशभक्ति से जुड़े मामलों को प्राथमिकता से उठाते रहते हैं।