प्रतापगढ़ में शिक्षक और कर्मचारियों ने किया एनपीएस और यूपीएस का विरोध

प्रतापगढ़ में शिक्षक और कर्मचारियों ने किया एनपीएस और यूपीएस का विरोध

Pratapgarh

प्रतापगढ़, 3 सितंबर 2024। प्रतापगढ़ के शिक्षक और कर्मचारी नेशनल पेंशन सिस्टम (एनपीएस) और यूनिवर्सल पेंशन सिस्टम (यूपीएस) दोनों से असहमति जताते हुए पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) की बहाली की मांग कर रहे हैं। अपनी मांगों के समर्थन में, 3 सितंबर 2024 को शिक्षकों और कर्मचारियों ने काली पट्टी बांधकर अपने कार्यों का निर्वहन किया और विरोध दर्ज कराया। उन्होंने हुबहू पुरानी पेंशन योजना को लागू करने की मांग की।

इस विरोध प्रदर्शन में पुराने पेंशन योजना का लाभ प्राप्त कर चुके शिक्षक और कर्मचारी भी शामिल हुए। उन्होंने भी काली पट्टी बांधकर एनपीएस और यूपीएस का विरोध किया। इस आंदोलन में डॉक्टर, शिक्षक, कर्मचारी सहित विभिन्न पेशों से जुड़े लोग शामिल थे।

अटेवा प्रतापगढ़ के जिलाध्यक्ष सी. पी. राव के आह्वान पर, जनपद प्रतापगढ़ के सुनील कुमार शुक्ल, प्रधानाचार्य राम अंजोर मिश्र इंटर कॉलेज लालगंज, ने कहा कि एनपीएस और यूपीएस दोनों ही हमें मंजूर नहीं हैं।

करुणा शंकर यादव, अध्यक्ष पट्टी, ने कहा कि जिस ऊर्जा से स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी, सफाई कर्मचारी अटेवा का समर्थन कर रहे हैं, उससे एक दिन पुरानी पेंशन अवश्य बहाल होगी।

पंकज सिंह, अध्यक्ष कालाकांकर, ने कहा कि कालाकांकर में कर्मचारी और शिक्षक काली पट्टी बांधकर विरोध कर रहे हैं।

धर्मेंद्र बहादुर सिंह, अध्यक्ष आसपुर देवसरा, ने यू.पी.एस. को एक धोखा करार देते हुए कहा कि हमें हूबहू पुरानी पेंशन चाहिए।

अरविंद कुमार विंद, अध्यक्ष गौरा, ने कहा कि गौरा ब्लॉक के प्रत्येक शिक्षक ओपीएस की बहाली तक संघर्ष करते रहेंगे।

अमरनाथ, अध्यक्ष लालगंज, ने बताया कि लालगंज में शिक्षकों और कर्मचारियों का विरोध अनवरत जारी है।

प्रधानाचार्य एवं संघर्षशील शिक्षक साथी अरुण कुमार मिश्रा, बापू इंटर कॉलेज लालगंज, ने काली पट्टी बांधकर एनपीएस और यूपीएस के विरोध में अपनी दमदार उपस्थिति दर्ज कराई।

इस विरोध में अखिलेश कुमार, राजेंद्र वर्मा, नशीमा बानो, रेनू सिंह यादव, अरशद अली, डॉ. सुशील कुमार, पन्ना लाल यादव, वी.पी. निगम, अमित कुमार, राम सजीवन सहित सैकड़ों शिक्षक और कर्मचारी शामिल थे। सभी ने एक स्वर में एनपीएस और यूपीएस का विरोध करते हुए पुरानी पेंशन योजना की बहाली की मांग की।